बुधवार, 6 फ़रवरी 2013

तुम्हारी याद


डॉ अनीता कपूर
1.
तुम्हारी याद-
ओस में भीगी मैं
या बादलों का 
पसीना भिगो गया
रही मैं प्यासी
तू बन जा नदिया
हुई मैं रेत
तेरा दिल फिसला
हूँ हवा नहीं
खुशबू हूँ तेरी मैं
न कोई खौफ़
न डर ज़हर का
तू इश्क मेरा
अनारकली हूँ मैं
तू कृष्ण मेरा
तेरी ही राधा हूँ मैं
जन्मों की गाथा हूँ मैं ।
-0-

8 टिप्‍पणियां:

  1. " तेरी ही राधा हूँ मैं / जन्मों की गाथा हूँ मैं।" ... डॉ अनिता जी का यह चोका मन को इतना भाया कि मैंने इसे कई बार पढ़ा। हार्दिक शुभकामनायें ! माँ सरस्वती की आप पर कृपा बनी रहे !

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  2. बहुत सुन्‍दर-------अनीता जी आप को हार्दिक बधाई

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  3. बहुत सुंदर 'याद' की परिभाषा अनीता जी....! बहुत अच्छा लगा चोका !
    ~सादर!!!

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  4. ज्योत्स्ना शर्मा18 फ़रवरी 2013 को 9:37 pm बजे

    सुन्दर ...मधुरता से परिपूर्ण प्रस्तुति ...बहुत शुभ कामनाएँ अनीता जी !

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  5. बहुत खूबसूरत चोक। अनीता जी बहुत शुभकामनाएं।

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  6. ye to janmo ki gatha hi hai neh ka pavan chitran hai
    badhai
    rachana

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  7. तू कृष्ण मेरा
    तेरी ही राधा हूँ मैं
    जन्मों की गाथा हूँ मैं ।
    बहुत सुन्दर...

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